पानी के लिए रात 8 बजे सड़कों और उतरी महिलाएं

0
पिंपरी : एन पी न्यूज 24 – जलापूर्ति व्यवस्था में सुधार लाने के नाम पर पवना बांध लबालब रहने के बावजूद एक दिन छोड़कर जलापूर्ति करने का फैसला पिंपरी चिंचवड मनपा प्रशासन ने किया है। इसके बावजूद शहर से पानी की किल्लत दूर होने का नाम नहीं ले रही है। नियमित जलापूर्ति के लिए राजनीतिक दल और नागरिक आए दिन आंदोलन कर रहे हैं। बीती रात आठ बजे भोसरी में तब खलबली मच गई जब पानी के लिए मनपा के प्रभाग नँबर 5 सावंतनगर, महादेवनगर की महिलाएं घड़े लेकर सड़कों पर उतर आई। ने किया है। इसके बावजूद शहर से पानी की किल्लत दूर होने का नाम नहीं ले रही है। नियमित जलापूर्ति के लिए राजनीतिक दल और नागरिक आए दिन आंदोलन कर रहे हैं। बीती रात आठ बजे भोसरी में तब खलबली मच गई जब पानी के लिए मनपा के प्रभाग नँबर 5 सावंतनगर, महादेवनगर की महिलाएं घड़े लेकर सड़कों पर उतर आई।
पिंपरी चिंचवड़ मनपा ने 25 नवंबर से एक दिन छोड़कर की जलापूर्ति शुरू की है। प्रशासन ने कहा है कि यह निर्ण
पिंपरी चिंचवड़ मनपा ने 25 नवंबर से एक दिन छोड़कर की जलापूर्ति शुरू की है। प्रशासन ने कहा है कि यह निर्णय समान जल के बंटवारे के लिए लिया गया है। हालांकि, इसके बाद भी पानी की किल्लत से जुड़ी शिकायतें कम नहीं हुई हैं। पानी आपूर्ति का सवाल वही का वहीं है। इसलिए पानी कटौती के फैसले का विरोध बढ़ रहा है। इस फैसले के बाद से प्रभाग नंबर 5 में पानी की आपूर्ति बाधित हो गई है। नागरिकों के पास पर्याप्त पानी की आपूर्ति नहीं हो रही है। इससे लोगों में आक्रोश व्याप्त हो गया है।
बीती रात लोगों खासकर महिलाओं का आक्रोश फूटा और वे खाली घड़े लेकर सड़कों पर उतर आयी। महिलाओं ने शिकायत की कि, कटौती लागू करने के बाद से उनके घरों में पानी बहुत कम दबाव में आ रहा है, कम पानी मिलता है, दूषित पानी की आपूर्ति की जा रही है, पानी का समय निश्चित नहीं है। रात बे रात कभी भी पानी मिल रहा है। अधिकारियों को फोन किया तो वे फोन नहीं उठाते और उठाते हैं तो गोलमोल जवाब देते हैं। नगरसेवक भी बेबस बनकर रह गए हैं। इसलिए आक्रोशित महिलाओं ने रात आठ बजे सड़कों पर उतरकर रास्ता रोका और प्रदर्शन किया। इसकी खबर पाकर नींद से जागे स्थानीय नगरसेवक व अधिकारी मौके पर पहुंचे। उन्होंने महिलाओं को समझाया जिसके बाद महिलाओं ने अपना आंदोलन वापस ले लिया।
visit : npnews24.com
Leave A Reply

Your email address will not be published.