लॉकडाउन को बदलें पॉजिटिव सोच में, अकेलेपन में भी कइयों ने रचे हैं इतिहास

0

नई दिल्ली : एन पी न्यूज 24 – कोरोना वायरस के संक्रमण के बढ़ते खतरे को देखते हुए देश के तमाम शहरों में लॉक डाउन जैसे हालात बन रहे हैं। लोग अपने अपने घरों में कैद हो रहे हैं सिर्फ भारत ही नहीं दुनिया के कई देशों जैसे चीन, इटली, स्पेन, लंदन आदि में पूरी तरह लॉक डाउन की स्थ‍िति कायम है। हालांकि ऐसा माना जाता है कि अकेलेपन में लोग अक्सर डिप्रेशन के श‍िकार हो जाते हैं। लेकिन, इसका दूसरा पहलू भी है। आप इस लॉकडाउन को पॉजिटिव सोच में बदल सकते है।

लॉकडाउन को बदलें पॉजिटिव सोच में –
– अकेले रहकर अपनेआप से बात करें, अपने भीतर की कमियों और अपनी ताकत का विश्लेषण करें। लेकिन इस दौरान आपको ये ध्यान रखना होगा कि अकेलेपन और खुद के साथ वक्त बिताने में बहुत फर्क है।

– परिवार के साथ समय बिताये।

– अच्छी-अच्छी किताबे पढ़े।

– दोस्तों के साथ फ़ोन पर या वीडियो कॉल पर बाते करे।

– दौरान कोई ऑनलाइन कोर्स भी कर सकते हैं।

– होम डेकोर या आर्कीटेक्ट में रुचि हो तो आप घर में रहकर पूरे घर को फिर से नये लुक में ढाल सकते हैं।

– वर्क फ्रॉम होम करें।

एक रिपोर्ट के मुताबिक, दुनियाभर में 10 हजार लोगों पर हुए एक सर्वे में ये बात सामने आई थी कि अकेले रहकर काम करने वालों के पास रिलैक्स करने के सबसे टॉप टिप्स थे। सबसे लोकप्रिय टिप्स पढ़ना था, इसके बाद परिवार के साथ समय बिताने का नंबर 12वां था। इसके अलावा लॉ ऑफ मोशन जैसे सिद्धांत की खोज करने वाले न्यूटन का ही उदाहरण लें तो उन्होंने भी एक लंबे समय तक एकाकी जीवन जिया। खेतों में अकेले काम करते हुए उन्होंने गति के सिद्धांतों की खोज की थी।  न्यूटन का जन्म उनके पिता की मौत के तीन माह बाद हुआ था। जिसके बाद मां ने दूसरी शादी कर ली। बाद में न्यूटन की मां ने उन्हें नानी के पास छोड़ दिया। वो ज्यादातर टाइम अकेले में ही रहते थे। इस तरह अकेले रहकर ही न्यूटन ने लॉ ऑफ मोशन जैसे सिद्धांत की खोज की

Leave A Reply

Your email address will not be published.