गोगोई के दिल की बात आखिर जुबान पर आ ही गई, शपथ लेने के बाद कह ही दिया

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नई दिल्ली. एन पी न्यूज 24 –सुप्रीम कोर्ट के पूर्व चीफ जस्टिस रंजन गोगोई ने गुरुवार को राज्यसभा के सदस्य के रूप में शपथ ली। राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने पूर्व सीजेआई रंजन गोगोई को राज्यसभा के लिए नामांकित किया था। जैसा कि उन्होंने कहा था कि बाद में बताउंगा कि मैंने क्यों राज्यसभा की सदस्यता की शपथ ली, तो गुरुवार को शपथ लेने के बाद कहा, ‘जो लोग मेरा विरोध कर रहे हैं, वे जल्द ही मेरा स्वागत भी करेंगे’। हालांकि इस दौरान विपक्ष के कुछ सांसदों ने सदन में  हंगामा किया। यहां तक कि  गोगोई जब शपथ ले रहे थे, तब विपक्ष के कुछ सांसद शेम-शेम के नारे लगाने लगे और फिर सदन से बाहर चले गए।

इसी क्रम में बता दें कि  सुप्रीम कोर्ट के पूर्व मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई का राज्यसभा में मनोनयन के फैसले को लेखक और सामाजिक कार्यकर्ता मधु किश्वर द्वारा सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी गई है। याचिका में कहा गया है कि रंजन गोगोई को राज्यसभा भेजे जाने के फैसले से न्यायपालिका की स्वायत्तता पर गंभीर प्रश्नचिह्न लग गया है, इसलिए इस पर रोक लगाया जाना चाहिए। रंजन गोगोई को राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद द्वारा राज्यसभा के लिए नामित किए जाने के बाद से ही विपक्ष काफी हमलावर रहा था।  चीफ जस्टिस के रूप में गोगोई का कार्यकाल करीब साढ़े 13 महीने का रहा था। इस दौरान उन्होंने कई महत्वपूर्ण फैसले सुनाए थे. इनमें राम मंदिर मामला, चीफ जस्टिस का ऑफिस पब्लिक अथॉरिटी मामला, सबरीमाला मामला, सरकारी विज्ञापन में नेताओं की तस्वीर पर पाबंदी मामला और अंग्रेजी-हिंदी समेत 7 भाषाओं के मामले में फैसला महत्वपूर्ण है। गोगोई 17 नवंबर को सुप्रीम कोर्ट से रिटायर हो गए थे।

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