मामूली व मध्यम अपराधों के कैदियों को जमानत दिलाने की कोशिश

कारागृह व सुधार सेवा विभाग के महानिरीक्षक सुनील रामानन्द की जानकारी

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पुणे। एन पी न्यूज 24 – राज्यभर की जेलों में क्षमता से ज्यादा कैदी बन्दी हैं। इन दिनों पुणे समेत राज्य में भी कोरोना का संक्रमण फैल रहा है। इसकी रोकथाम के लिए सरकार व प्रशासन द्वारा कई प्रतिबंधात्मक उपाययोजनाएं की जा रही है। इस कड़ी में जेलों में कोरोना का संक्रमण टालने के लिहाज से किए जा रहे उपायों की जानकारी देते हुए कारागृह व सुधार सेवा के महानिरीक्षक व अपर पुलिस महानिदेशक सुनील रामानंद ने कहा कि, मामूली व मध्यम स्वरूप के आपराधिक मामलों के कैदियों को अस्थायी या नियमित जमानत दिलाने की कोशिश की जायेगी।
उन्होंने संवाददाताओं से की गई बातचीत में यह भी कहा कि, राज्य में 45 जगहों पर 60 जेलों में 35 हजार से भी ज्यादा कैदी हैं। इनकी क्षमता 24 हजार कैदियों की है मगर यहां 38 हजार कैदी बंदिस्त हैं। येरवडा, मुंबई ऑर्थर रोड, ठाणे व नासिक सेंट्रल जेलों में अगर अदालत के मागर्दर्शन व निर्देश पर मामूली एवं मध्यम स्वरूप के आपराधिक मामलों के कैदियों को नियमित या अस्थायी जमानत मिलने पर कैदियों की संख्या कम होने में मदद मिलेगी। साथ ही जेलों में कोरोना का संक्रमण भी रोका जा सकेगा। जेलों में कैदियों से मिलने आनेवाले रिश्तेदारों और करीबियों पर भी रोक लगाने की कोशिश की जा रही है।
न्यायालयीन अधिकारियों से संपर्क कर फिजिकल प्रोडक्शन 100 फीसदी रोककर वीडियो कॉन्फरसिंग के द्वारा करने की गुजारिश की गई है। पैसों के अभाव में जमानत न मिल सकने वाले कैदियों के लिए स्वयंसेवी संस्थाओं की मदद लेने का भी विचार किया जा रहा है। इसके अलावा प्रिजन गेट से आनेवाले हर व्यक्ति की गेट के बाहर ही मेडिकल जांच की जाएगी। इसमें बुखार, जुकाम, खांसी आदि साधारण मेडिकल जांच की जाएगी। इसके अलावा जेलों में मेडिकल जांच के शिविर भी शुरू किए जा रहे हैं। अगर किसी में कोरोना के लक्षण पाए जाते हैं तो उन्हें आइसोलेशन वार्ड में रखा जायेगा, यह भी रामानंद ने बताया।
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